श्रीरामचरित मानस विवाद यूपी में थमने का नाम नहीं ले रहा है। इस पर विवादित बयान देकर घिरे समाजवादी पार्टी नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने अब पीएम नरेन्द्र मोदी और आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत पर निशाना साधा है। इसके साथ ही मौर्य ने सीएम योगी आदित्यनाथ को चुनौती देने के अंदाज में उन साधु-संतों के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराने की मांग की जिन्होंने उनकी जीभ, नाक, सर और गला काटने के लिए इनाम की घोषणा की थी।

स्वामी ने तंज कसते हुए कहा कि ‘मैंने तो सिर्फ रामचरिमानस की कुछ पंक्तियों पर आपत्ति जताते हुए उन्हें हटाने की मांग की थी। मैंने तो यह बात सांविधानिक दायरे में रह कर की थी। मेरे खिलाफ एफआइआर इसलिए दर्ज करायी गई क्योंकि मैं पिछड़ा हूं जबकि मेरे अंग काटने की सुपारी देने वाले साधु संतों पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।
सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने दो ट्वीट करके प्रधानमंत्री मोदी और आरएसएस प्रमुख पर निशाना साधा। एक ट्वीट में उन्होंने लिखा- ‘मानस की आपत्तिजनक कुछ चौपाइयों को संशोधित व प्रतिबंधित करने की मांग को, कुछ लोग श्रीराम, हिंदू धर्म और रामचरितमानस से जोड़कर मामले को भटकाने की कोशिश कर रहे हैं। ऐसे ही लोग महिलाओं, आदिवासियों, दलितों व पिछड़ों के 97% आबादी के सम्मान के विरोधी हैं।’
एक अन्य ट्वीट में उन्होंने लिखा, ‘मा. प्रधानमंत्री जी आप चुनाव के समय इन्हीं महिलाओं, आदिवासियों, दलितों, पिछड़ो को हिंदू कहते हैं। आरएसएस प्रमुख, भागवत जी कहते हैं कि जाति पंडितों ने बनाई। तो आखिर इन्हें नीच, अधम, प्रताड़ित, अपमानित करने वाली रामचरित्र मानस की आपत्तिजनक टिप्पड़ीयों को हटाने हेतु पहल क्यों नहीं।’
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