उत्तर प्रदेश की 10 बड़ी सड़कों को जल्द ही राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच) का दर्जा मिलेगा। सीएम योगी के इन प्रस्तावों पर केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्रालय ने प्रक्रिया शुरू कर दी है। सीएम योगी सोमवार को नई दिल्ली स्थित भारत मंडप में आयोजित राष्ट्रीय राजमार्ग से संबंधित परियोजनाओं की समीक्षा बैठक में शामिल हुए थे।
इस दौरान उन्होंने प्रदेश के 10 नए राजमार्गों को राष्ट्रीय राजमार्ग (कॉरिडोर) घोषित करने का अनुरोध केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी से किया था। एनएचएआई के सूत्रों के मुताबिक, इन सड़कों को लेकर प्रक्रिया शुरू करने के निर्देश दे दिए गए हैं। ये मार्ग हैं-कोटद्वार-इटावा-सागर (640 किमी), काशीपुर-मुरादाबाद-अलीगढ़-मथुरा-भरतपुर (268 किमी), पिथौरागढ़ से पीलीभीत-शाहजहांपुर-कानपुर-छतरपुर(मध्य प्रदेश)-469 किमी, गौरीफंटा (नेपाल)-लखीमपुर-सीतापुर-लखनऊ-चित्रकूट-सतना (मध्य प्रदेश)-350 किमी, भोगनीपुर-हरदोई-सीतापुर-लखीमपुर-गौरीफंटा (नेपाल सीमा)-349 किमी, बगहा (नेपाल)-पडरौना-देवरिया-गाजीपुर-मेदिनीपुर (झारखंड)-401 किमी, टूंडला-एटा-कासगंज (120 किमी), मुरादाबाद-बदायूं-फर्रूखाबाद-सौरिख (270 किमी), गोसाईगंज-मोहनलालगंज-बनी-मोहान मार्ग (62 किमी) और ककरहवा (नेपाल सीमा)-बस्ती-जौनपुर-मिर्जापुर-सिंगरौली (मध्य प्रदेश)-415 किमी।
इसके अलावा सीएम ने वाराणसी रिंग रोड के बचे हुए काम (गंगा ब्रिज) को पूरा करने के बाद इस रिंग रोड को शीघ्र ही ट्रैफिक के लिए खोले जाने पर जोर दिया था। मुख्यमंत्री ने ब्रज चौरासी कोसी परिक्रमा मार्ग को राष्ट्रीय राजमार्ग घोषित किए जाने को प्रस्ताव भी रखा। साथ ही अयोध्या बाईपास को बेहतर किए जाने का भी अनुरोध किया। प्रदेश के पांच मंडलों अलीगढ़, देवीपाटन, झांसी, मिर्जापुर और सहारनपुर में रिंग रोड बनाना का प्रस्ताव रखा था। माना जा रहा है कि इन प्रस्तावों को शीघ्र ही अमलीजामा पहनाया जाएगा।
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