मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि अयोध्या, प्रयगराज, वाराणसी और गोरखपुर को सोलर सिटी के रूप में विकसित किया जा रहा है। उत्तर प्रदेश अब देश में रिन्यूएबल एनर्जी का बड़ा केंद्र बन सकता है। बुंदेलखंड और विंध्य में सौर ऊर्जा के उत्पादन की सबसे अधिक संभावनाएं हैं। सीएम शुक्रवार को बांदा में स्थापित 70 मेगावाट के अवाडा सोलर पावर प्रोजेक्ट का वर्चुअल माध्यम से उद्घाटन समारोह को संबोधित कर रहे थे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस प्लांट का उद्घाटन उत्तर प्रदेश वैश्विक निवेश सम्मेलन के दौरान प्राप्त हुए निवेश प्रस्ताव के धरातल पर उतरने के एक नए अध्याय की शुरुआत है। इसके माध्यम से चार सौ से ज्यादा लोगों को रोजगार प्राप्त होगा। पीएम सूर्य घर योजना के अंतर्गत प्रदेश के अंदर 25 लाख घरों पर सोलर पैनल स्थापित होने हैं।
इसके तहत अब तक 18 लाख रजिस्ट्रेशन हो चुके हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार करीब 22 हजार मेगावॉट के ग्रीन एनर्जी के कार्यक्रम को आगे बढ़ा रही है। इसके लिए 23 हजार एकड़ लैंड बैंक प्रदेश के यूपीनेडा ने चिह्नित कर लिया है। सरकार सौर एवं जैव ऊर्जा नीति-2022 और ग्रीन हाइड्रोजन नीति-2024 के क्रम में इस अभियान को आगे बढ़ा रही है।
उन्होंने कहा कि बुंदेलखंड की तरह ही अवाडा ग्रुप को दूसरे क्षेत्र में भी प्लांट की संभावनाएं तलाशनी चाहिए। बुंदेलखंड अक्षय ऊर्जा का महत्वपूर्ण स्रोत बन सकता है। इस दौरान ऊर्जा मंत्री एके शर्मा, ऊर्जा के राज्य मंत्री सोमेंद्र तोमर, जलशक्ति राज्य मंत्री रामकेश निषाद, मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह और अवाडा ग्रुप के प्रमुख विनीत मित्तल मौजूद थे।
Fark India | National Hindi Magazine Hindi Magazine and Information Portal