आयकर की छापेमारी के दूसरे दिन तक लम्बी पूछताछ में कई कारोबारी मान गए कि उन्होंने टैक्स चोरी की है। अब जब्त किए गए दस्तावेजों और कम्प्यूटर हार्ड डिस्क से आंकड़े इकट्ठा कर टैक्स चोरी की गणना हो रही है।

आयकर की छापेमारी के दूसरे दिन तक लम्बी पूछताछ में कई कारोबारी मान गए कि उन्होंने टैक्स चोरी की है। अब जब्त किए गए दस्तावेजों और कम्प्यूटर हार्ड डिस्क से आंकड़े इकट्ठा कर टैक्स चोरी की स्क्रूटनी की जा रही है। जानकीपुरम, गोमती नगर विस्तार और फरीदीनगर के इर्द गिर्द जांच अधिकारियों का दायरा समित हो गया।
आयकर विभाग ने एक दिन पहले पांच इलाकों में आठ स्थानों पर छापेमारी शुरू की थी। इनमें रीयल एस्टेट, प्रॉपर्टी डीलिंग और आईटी सॉल्यूशन कंपनी से जुड़े मालिकान शामिल हैं। एक कारोबारी ने सुबह तक टीम को गुमराह करने की कोशिश की। एक ने तबीयत का हवाला दिया लेकिन अलग-अलग समय घुमा कर पूछे गए जाल में वह फंस गए।
इस बीच कुछ दस्तावेज और कम्प्यूटर ड्राइव लेकर रवाना हुए युवा आईटी अधिकारियों ने आंकड़े जुटा लिए थे कि किस तरह बोगस कंपनियों के जरिए काले धन को सफेद करने का काम किया गया। एक आयकर अधिकारी के अनुसार जब उन आंकड़ों के आधार पर सुबह पूछताछ हुई तो एक बड़े कारोबारी ने गलती स्वीकार कर ली। आयकर अधिकारी के अनुसार शुक्रवार तक बयान लेने का कार्य पूरा कर लिया जाएगा।
निवेश’ और ‘निवेशकों’ के नाम सुनकर पहुंचे आला अफसर
ट्रांस गोमती क्षेत्र में एक स्थान पर सुबह नौ बजे के करीब पूछताछ के दौरान एक बड़े कारोबारी, कंपनी के मालिक ने कुछ राज खोले तो मौके पर मौजूद आयकर अधिकारी हैरान हो गए। उन्होंने आला अफसरों को सूचित किया। थोड़ी ही देर में तीन इनोवा और अर्टिगा से कई आयकर के आला अधिकारी पहुंच गए। यहां से मिली जानकारियों के आधार पर अन्य टीमों को अलर्ट कर दिया गया है।
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