रांची. झारखंड कांग्रेस में बुधवार को बड़ा बदलाव देखने को मिला. हेमंत सोरेन कैबिनेट में मंत्री बने रामेश्वर उरांव की जगह राजेश ठाकुर को नया प्रदेश अध्यक्ष बनाया गया है. पार्टी की ओर से चार नए प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष नियुक्त किए गए हैं. इसमें गीता कोड़ा, बंधु तिरकी, जलेश्वर महतो और शाहज़दा अनवर के नाम शामिल हैं. सूत्रों के मुताबिक, कैबिनेट में भी कुछ चेहरे को बदला जाएगा. हालांकि प्रदेश कांग्रेस में बड़े फेरबदल की सुगबुगाहट काफी लंबे समय से चल रही थी. पंजाब में फेरबदल के बाद ही झारखंड में भी संगठनात्मक स्तर पर बदलाव की बात कही जा रही थी. आखिरकार पार्टी आलाकमान ने प्रदेश कांग्रेस के नेतृत्व में परिवर्तन किया है.
रामेश्वर उरांव के कार्यकाल में राजेश ठाकुर प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष की भूमिका में थे. राजेश ठाकुर का राजनीतिक शुरुआत NSUI से शुरू होते हुए यूथ कांग्रेस के जिला अध्यक्ष , महासचिव, कांग्रेस के प्रदेश प्रवक्ता, प्रदेश कांग्रेस के कार्यकारी अध्यक्ष के रास्ते कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष बनने तक का है. स्वभाव से सरल , मृदुभाषी और सहनशील राजेश ठाकुर कई बार खुद को कांग्रेस के समर्पित कार्यकर्ता और नेता के तौर पर साबित कर चुके हैं. कांग्रेस हाईकमान ने प्रदेश में संगठन की मजबूती और विस्तार के साथ – साथ संगठन के अंदर बेहतर तालमेल को ध्यान में रखते हुए राजेश ठाकुर का चयन किया है. ठाकुर प्रदेश के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के भी करीबी माने जाते हैं.
झारखंड कांग्रेस अध्यक्ष बनने पर प्रतिक्रिया देते हुए राजेश ठाकुर ने कहा, “एक कार्यकर्ता को बड़ी ज़िम्मेदारी मिली है. हम कांग्रेस के कार्यकर्ताओं के सम्मान को बढ़ाने, जनता को कांग्रेस के साथ जोड़ने का काम करेंगे. आने वाले समय में कांग्रेस को झारखंड में सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभारने का काम करेंगे.”
नए प्रदेश अध्यक्ष के समक्ष संगठन, सरकार और राजनीतिक मोर्चे पर कई तरह की चुनौती होगी. जहां संगठन के अंदर सबको साथ ले कर चलने का टास्क होगा , वही सरकार के अंदर कांग्रेस की मजबूत दावेदारी को लेकर भी सबकी निगाहें उन पर टिकी रहेंगी . राजनीतिक लिहाज से राजेश ठाकुर के प्रदेश अध्यक्ष बनने से प्रदेश के युवा वर्ग की नजर कांग्रेस की तरफ जरूर होगी.