बेटे के शव को अंतिम संस्कार के लिए घर लाए तो मां को बेटे की मौत की जानकारी मिली। बेटे के मौत की खबर मां बर्दाश्त नहीं कर पाई और कुछ ही देर में बूढ़ी मां ने भी प्राण त्याग दिए। परिवार में मां और बेटे की एक साथ मौत की खबर मिलते ही गांव में मातम छा गया।
बेहडेकी सैदाबाद गांव निवासी एक महिला ने जैसे ही संदिग्ध बुखार से जूझ रहे बेटे की मौत की खबर सुनी तो सदमा बर्दाश्त नहीं कर पाई। कुछ ही देर में महिला ने बेटे के गम में विलाप करते हुए प्राण त्याग दिए। मां और बेटे की मौत की खबर मिलने ही पूरे गांव में मातम छा गया। झबरेड़ा थाना क्षेत्र के बेहडेकी सैदाबाद गांव में ग्रामीण बुखार से पीड़ित हैं। इसी गांव निवासी संदीप कुमार (34) पुत्र नोम्मा सिंह परिवहन पुलिस में तैनात थे। वह पिछले कुछ दिनों से बुखार से पीड़ित चल रहे थे।
संदीप की हालत बिगड़ते देख उन्हें देहरादून के एक अस्पताल में भर्ती करवाया गया था। वहां मंगलवार को उपचार के दौरान उसकी मौत हो गई। उस दौरान तो परिवार के सदस्यों ने संदीप की मां करेशनी देवी (70) को खबर नहीं दी।
गांव में पसरा मातम
बुधवार को जब बेटे के शव को अंतिम संस्कार के लिए घर लाए तो मां को बेटे की मौत की जानकारी मिली। बेटे के मौत की खबर मां बर्दाश्त नहीं कर पाई और कुछ ही देर में बूढ़ी मां ने भी प्राण त्याग दिए। परिवार में मां और बेटे की एक साथ मौत की खबर मिलते ही गांव में मातम छा गया।
बता दें कि इससे पूर्व भी बेहडेकी गांव में संदिग्ध बुखार से दो मौत हो चुकी है। स्वास्थ्य विभाग की टीम ने गांव में आकर बुखार से पीड़ित लोगों के खून के नमूने लिए थे। इस समय भी गांव में छह लोग डेंगू से पीड़ित बताए जा रहे हैं। उनका उपचार निजी नर्सिंग होम में चल रहा है।
Fark India | National Hindi Magazine Hindi Magazine and Information Portal