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एसएसपी अनुराग आर्य ने थानों की साइबर सेल का किया पुनर्गठन

बरेली में साइबर अपराध पर नकेल कसने के लिए एसएसपी ने थानों की साइबर सेल (साइबर हेल्प डेस्क) का पुनर्गठन किया है। कुल 181 पुलिसकर्मी इसमें संबद्ध किए गए हैं। ये साइबर अपराध रोकने के साथ ही ऐसे मामलों में त्वरित कार्रवाई कर पीड़ितों को राहत पहुंचाएंगे। साइबर अपराध पर नियंत्रण के लिए एक जून 2020 को पुलिस लाइन में मंडलीय साइबर थाने की स्थापना की गई थी। इससे पहले सभी जिलों में एसएसपी के कैंप ऑफिस में साइबर सेल की ही व्यवस्था थी। पांच लाख रुपये से ज्यादा की साइबर धोखाधड़ी होने पर आईजी या समकक्ष अधिकारी के आदेश पर विवेचना साइबर थाने से होती थी।

पिछले साल सीएम योगी ने सभी जिलों में साइबर थाना खोलने का आदेश दिया तो मंडलीय थाने को ही जिला स्तर का बनाकर उन्हें एसएसपी के अधीन कर दिया गया। साथ ही सभी थानों में साइबर सेल (साइबर हेल्प डेस्क) खोल दी गईं। यहां तैनात स्टाफ में से अधिकतर कभी सामान्य बदलाव तो कभी जिले से बाहर ट्रांसफर कर दिए गए। इससे यह सेल बेमतलब साबित हो रही है।

पुलिसकर्मियों को दिया जा रहा प्रशिक्षण
अब नए डीजीपी ने सभी जिलों में सुस्त पड़ी हेल्प डेस्क को प्राथमिक मदद लायक तैयार करने का आदेश दिया है। एसएसपी ने थानों में तैनात 181 पुलिसकर्मियों को उन्हीं के थानों की साइबर हेल्प डेस्क से संबद्ध किया है। इन्हें विशेषज्ञों की ओर से साइट्रेन एप व अन्य तकनीकी तौर-तरीकों का विशेष प्रशिक्षण दिया जा रहा है।

अपने थाने में बैठकर ही करा सकेंगे रकम फ्रीज
अधिकारियों के मुताबिक हर थाने पर एक दरोगा, एक दीवान, दो सिपाही व एक कंप्यूटर ऑपरेटर समेत न्यूनतम पांच कर्मचारियों को हेल्प डेस्क से संबद्ध किया गया है। बड़े मामलों में रिपोर्ट दर्ज कर संबंधित थानों के इंस्पेक्टर क्राइम विवेचना करेंगे। साइबर थाने के इंस्पेक्टर नीरज सिंह ने बताया कि अब तक साइबर हेल्प डेस्क के कर्मचारी पीड़ित को 1930 नंबर लगाने के लिए कहते थे। प्रशिक्षण के बाद वह अपने थाने से ही बैंक खातों में रकम फ्रीज व नंबर लॉक करा सकेंगे।

एसएसपी अनुराग आर्य ने बताया कि साइबर अपराध रोकने, लोगों को जागरूक करने व पीड़ितों को राहत दिलाने के लिए थानों की साइबर हेल्प डेस्क का पुनर्गठन किया है। युवा और तकनीकी जानकार स्टाफ को तैनात कर उनको प्रशिक्षित किया जा रहा है। वह पीड़ितों की फौरी मदद करेंगे। इससे साइबर थाने व जिला स्तरीय साइबर सेल पर काम का दबाव भी कम होगा।